क्या आपको भी घर लानी है सकारात्‍मक ऊर्जा तो भूल से भी न करें ये गलतियाँ

हमारा घर मंदिर से कम नहीं होता, क्योंकि यहां भगवान का वास होता है। घर में सकारात्मक ऊर्जा का होना बेहद जरूरी है, क्योंकि घर की सुख-शांति इस पर काफी निर्भर करती है।ऐसे में वास्तु शास्त्र  के कुछ नियम बेहद चमत्कारी साबित हो सकते हैं.

यदि वास्‍तु के कुछ आधारभूत नियमों का ही पालन घर में कर लिया जाए तो बहुत लाभ पाया जा सकता है. इससे ना सिर्फ आपके जीवन में खुशियां दस्तक देती हैं बल्कि, आपके घर में सकारात्‍मक ऊर्जा सुख-समृद्धि भी बढ़ने लगती है.

ज्योतिष शास्त्र में माना जाता है कि घर के निर्माण की रूप रेखा से लेकर साज-सज्जा तक में वास्तु का काफी ध्यान रखना चाहिए, क्योंकि इसी वजह से घर में सकारात्मकता बनी रह सकती है।

मन की शांति, सकारात्‍मकता घर के लोगों की तरक्‍की के लिए पूजा घर हमेशा घर के उत्तर-पूर्व यानी ईशान कोण में होना चाहिए. ये देवताओं का स्थान होता है. इसके साथ ही ध्‍यान रखें कि पूजा घर के ऊपर-नीचे सीढ़ी, टॉयलेट  या किचन न हो.

जल को व्यर्थ में बर्बाद नहीं करना चाहिए। वास्तु में तो नल से जल का व्यर्थ में बहना शुभ नहीं माना जाता है। इसको धन की हानि के तौर पर भी देखा जाता है। पुष्प चढ़ाकर और दिया जलाकर अपनी खुशी में उन्हें भी शामिल कर सकते हैं। इससे सकारात्मक ऊर्जा का संचार हो सकता है।

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