मंगल पर मौजूद नासा के क्यूरियोसिटी रोवर के पहिये में हुआ छेद, दाहिने वाले में खराबी की तस्वीरें आई सामने

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा की ओर से मंगल ग्रह पर भेजे गए क्यूरियोसिटी रोवर के पहिये में पहली बार छेद हुआ है। लगभग 12 साल से लाल ग्रह पर मौजूद रोवर की तस्वीरें हाल ही में अंतरिक्ष एजेंसी ने जारी की है। तस्वीरों में रोवर के पहिये में कई बड़े छेद नजर आ रहे हैं। इससे स्पष्ट होता है कि रोबोट को कहीं न कहीं बड़ी क्षति पहुंची है।

नासा के मुताबिक, क्यूरियोसिटी के मार्स हैंड लेंस इमेजर (एमएएचएलआई) की ओर से ली गई तस्वीर में लंबे समय तक यात्रा के कारण रोवर के दाहिने पहिये में एक छेद हो गया है। साथ ही पहिये में खरोचों के साथ कई बड़े निशान दिखाई दे रहे हैं। इसमें एक बड़ा छेद भी हुआ है, इसके जरिये पहिये के अंदर तक का भाग दिखाई दे रहा है। हालांकि, यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि छेद पहली बार कब बने थे। इसके अलावा किसी अन्य पहिये में इस तरह की क्षति का पता नहीं चला है।

अभी भी अच्छी स्थिति में है क्यूरियोसिटी
मिशन का संचालन करने वाले इंजीनियर एशले स्ट्रूप ने एक बयान में कहा कि देखने में यह क्षति खराब लग रही है। लेकिन इसके बावजूद क्यूरियोसिटी अभी भी अच्छी स्थिति में है। ऐसा कोई संकेत नहीं है कि रोवर भविष्य में रुकने वाला है। इससे पहले 2022 में वैज्ञानिकों ने देखा था कि नासा के पर्सीवरेंस रोवर का पहिया अपने साथ एक चट्टान लेकर चल रहा था।

पहली बार 2012 में मंगल ग्रह पर पहुंचा था रोवर
क्यूरियोसिटी रोवर पहली बार 5 अगस्त 2012 को मंगल ग्रह पर पहुंचा था। शुरुआत में इसके केवल दो साल तक काम करने की उम्मीद थी। हालांकि, यह वैज्ञानिकों की उम्मीद से कहीं अधिक काम कर रहा है। यह अब तक क्योरोसिटी रोवर गेल क्रेटर के चारों ओर अब तक 32 किमी से ज्यादा की यात्रा कर चुका है। यह मूल रूप से यह इसी क्रेटर में उतरा था। इस दौरान वैज्ञानिकों ने विदेशी जीवों का संकेत खोजने और सूर्य के पिछले हिस्से को देखा। रोवर ने कई तरह की अनोखी चीजें भी खोजी हैं, इनमें एक किताब के आकार की चट्टान, एक खनिज फूल शामिल हैं।

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